Wednesday, August 10, 2011

Beautiful roses given by Sachin to Akansha........:)

 
प्यार  तुम  पर  आया  है  हमको, अब  हम  अपने  बस  में  नहीं  है 
जादू  ऐसा  छाया  है  हमपर , होश  नहीं  है  चैन  नहीं  है,
दीवानगी का आलम ये है , आँखे अपनी तुमको ही बस ढूंढ रही खोज रही है,
पागलपन  भी  चढ़ा है कुछ कुछ, मिलने को  बस तरस रहे हैं तड़प रहे हैं
नटखटपन ऐसा आया है,  बचपन  की  बातें सुन रहे हैं कर रहे हैं,
खुमार चढ़ा है प्यार का ऐसा,तड़प रहे हैं तरस रहे हैं
बैचेनी छाई रहती है हरदम, वक्त तो बस अब यादों के सहारे  काट रहे हैं बिता रहे हैं

1 comment: